जंगल मेँ गांड चुदाई

कुछ भी कहने से पहले या कुछ भी सुनाने से पहले मैँ आपको बता दूँ कि यह एक सत्य कथा है. आप इस पर यकिन करिये या ना करे यह आपकी मर्ज़ी, लेकिन मेरा फर्ज़ है आपको यह बता देना.तो शुरुआत करते हैँ मुझसे, मेरा नाम शीबा है, मैँ दिल्ली की रहने वाली एक पढी लिखी लडकी हूँ. मेरी उम्र 26 साल और पेशे से मैँ एक पत्रकार हूँ. मेरा काम है लोगोँ तक सच्चाई को लाना. इस काम को करने के लिये मुझे ना जाने किन किन लोगोँ से दो चार होना पडता है. मेरे लिये दिन रात सब एक समान हैँ. आधी रात को भी मुझे अक्सर न्यूज कवरेज करने जाना पडता है. दिखने मेँ मैँ काफी सुन्दर, गोरी, 5.7’’ लम्बी और मांसल गांड वाली हूँ. मेरे सात काम करने वाले कई पुरुष अक्सर मुझे अपनी गन्दी निगाहोँ से देखते हैँ लेकिन वो यह जानते हैँ कि उनकी हद सिर्फ मुझे देखने तक ही है. इसके आगे वो कभी नहीँ बढते हैँ, क्योंकि सब जानते हैँ कि मेरे गुस्से से क्या कयामत आ सकती है. मेरी पहुंच और रुतबा दिल्ली के पुलीस कमीश्नर तक है. खैर यह सब तो काम की बाते हैँ. और ऐसी बातेँ चलती रहती हैँ. आगे बढते हैँ. ज़िन्दगी मेँ मैँने काम के सिवा और कुछ नहीँ सोचा. प्यार, दोस्ती, यह सब तोजैसे मैँ भूल ही गई थी. लेकिन उस रात ने मेरी ज़िन्दगी एकदम से बदल कर रख दिया.
जंगल में गई
हुआ यह कि मुझे मेरे न्यूज़ रूम से फोन आया कि शहर से बाहर एक जंगल के पास कुछ लोग एक लडकी को अगवा करके ले जा रहे हैँ, किसी सफेद गाडी मेँ. मैँ तुरंत अपने कैमेरामैन के साथ गाडी मेँ बैठकर शहर से बाहर निकल गई. हम लोग रात के दो बजे एक सुनसान रास्ते की ओर बढने लगे. हमेँ वहाँ एक पुलीस की गाडी दिखी. पुलीस वाले वहाँ सेआगे नहीँ जा रहे थे क्योंकि आगे अन्धेरा है और उन लोगोँ ने सुबह वहाँ जाने का फैसला किया. मुझे लगा यह मौका सही है पुलीस की नाकामयाबी को दिखाने का. इसलिये मैँ बिना पुलीस के ही अपने साथी के साथ वहाँ पहुंच गयी. वहाँ आकर मैँने देखा कि वो एक घना जंगल है और वहाँ कोई नहीँ है. तभी मुझे दूर एक पेड के पीछे कुछ लोग दिखाई दिये. हमने कैमेरा औन किया और उस तरफ चल पडे. वहाँ हमने देखा कि चार लोग नंगे खडे थे और एक लडकी बीच मेँ नंगी सोई हुई थी. वो रो रही थी. और यह चारोँ शराब पीते हुए उस पर शराब डाल रहे थे. उनके लंड भी खडे थे और्वोबीच बीच मेँ अपने लंड को मसल रहे थे और लडकी की चूची को चाट रहे थे किस कर रहे थे. कोई उसकी गांड को खोद रहा था तो कोई उसकी चूची को. कोई उसकी चूत को कुरेद रहा था तो कोई उसकी चूत को बीच बीच मेँ चाट रहा था.
मुझसे यह नहीँ देखा गया और मैँ गुस्से से चिल्ला पडी. मुझे वहाँ देखकर वो सब चौन्क गये और मेरी तरफ बढे. मुझे लगा कि मुझे यहाँ से भागना चाहिये नहीँ तो यह लोग मेरी गांड भी इस लडकी के साथ मार देंगे. और जैसे ही मैँ मुडी तो मैँने देखा… आगे की कहानी बाद मेँ.
तभी मैँने देखा कि एक मोटा काला, लम्बा आदमी, जिसकी बदी बडी मूंछे हैँ, मेरी ओर बढ रहा है. वो भी पूरा नंगा था. उसके हाथ मेँ एक गन थी. उसकी आंखेँ लाल थी और वो मुस्कुरा रहा था.उसका लंड भी करीब 12’’ लम्बा था और 4’’ मोटा. मैँ तो उसे देखकर ही डर गयी. मेरा साथी कैमेरामैन तो जैसे ही डर कर बूत बन गया हो. वो मेरे पास आया और अपने साथियोँ से मेरे कैमेरामैन को बान्धने को कहा. उन लोगोँ ने उसे पेड से बान्ध दिया. फिर वो मुझे पकड कर उस लडकी के पास ले आये. वो लडकी बहुत रो रही थी. मुझे भी अब डर लगने लगा. मैँ बोली हमेँ जाने दो प्लीज़. वो बोला हमेँ कौन सी तुमसे शादी करनी है. बस थोडा लंड को प्यार कर दो और चली जाओ. मैँ उसके लंड को देखकर ही सहम गयी और मेरी गांड फटने लगी. उसने मुझसे कपडे उतारने को कहा तो मैँ पीछे हटी. फिर उसके साथी आगे आये और मुझे पकड कर मेरी जींस और शर्ट उतार द्दिये. अब मैँ ब्रा और पैंटी मेँ उसके सामने थी. वो मेरे गोरे बदन को ब्रा पैंटी मेँ देखकर लंड मसलने लगा. फिर अपने साथियोँ से बोला कि तुम लोग उस लडकी को चोदो और इसे सिर्फ मैँ खाउंगा.
वो एक चत्टान पर बैठ गया और मुझे अपनी गन दिखाकर उसकी जांघ पर बैठने को कहा. मैँ डरते हुए उसके पास आईऔर उसकी जांघ पर बैठ गयी. मुझे उसका मोटा लंड मेरी कमर पर झटके मारते हुए महसूस हो रहा था. मैँ बोली, मुझे सेक्स नहीँ करना है, मैँ अपने पति के लिये कुंवारी रहना चाह्ती हूँ. वो कुछ सोचा और बोला ठीक है तेरी यह इच्छा हम पूरी कर देते हैँ. मैँ थोडी खुश हो गयी यह सोच कर कि लगता है कि यह मुझे जाने देगा. लेकिन अब उसने जो कहा वो बहुत भयानक था. उसने कहा कि मैँ तेरी चूत नहीँ मारूंगा, बस तुझे मेरे लंड को अच्छे से चूसना होगा और फिर अपनी गांड मेँ इसे अन्दर तक ले लेना होगा. यह सुनकर ही मेरे होश उड गये.
गांड मरा के वापस आई
फिर उस मोटे आदमी ने मेरी गोरी गोरी गद्देदार गांड को हाथ से सहलाना शुरु किया और फिर बीच बीच मेँ वो उसे मसलने भी लगता. ऊफ… एक अजीब सा मज़ा मुझे आने लगा. अचानक मैँने महसूस किया कि उसकी ऊंगलिया मेरी गांड की दरारोँ मेँ घूम रही हैँ. मुझे बहुत अच्छा लगने लगा. फिर उसकी ऊंगलिया मेरी गांड के छेद को सहलाने लगीँ. मुझे सिहरन होने लगी. उसने अपनी एक मोटी ऊंगली मेरी गांड मेँ डालने की कोशिश किया लेकिन मेरी गांड बहुत टाईट थी. वो रुक गया और उसने मुझे उठाया और गोडी बनने को कहा. मैँ घोडी बन कर खडी हो गयी. फिर वो मेरे पीछे आया और मेरी गांड की दरारोँ को फैलाकर अपनी नाक को मेरी गांड के छेद पर लगा कर सूंघने लगा. मुझे गुदगुदी होने लगी. फिर उसने अपनी लम्बी जीभ को मेरी गांड के चीद से दरारोँ तक और फिर मेरी चूत पर चाटना शुरु किया. सी ई ई ईई ईई ईई ई ई ऊ ऊ ऊ ऊ ऊओ आ आ आ अह्ह्ह्ह्ह … म्म्म्म्म् म्म्म्म्म् म्म्म्म्म की आवाज़ से सब लोग चौंक कर मुझे देखने लगे. मैँ अपनी गांड को उसकी जीभ पर खुद ब खुद ही रगडने लगी. मुझे बहुत मज़ा आने लगा यह हर कोई समझ गया.
अब उसने अपनी जीभ से मेरी गांड को कुरेदना शुरु कर दिया.. स्सी उउउउ आअह्ह म्म्म्म… फिर से ऐसी आवाज़ मेरे गले से निकलने लगी. उसने चाट चाट कर मेरी गांड को लाल कर दिया. मुझे जंगल मेँ मंगल होता दिखाई देने लगा. ऐसा अहसास जिसकी कल्पना करना भी अब तक असम्भव था. जैसे तैसे उसने मेरी गांड को लाल अक्रके छोडा. मुझे लगा अब वो मेरी चूत को चाटेगा लेकिन मेरा ख्याल गलत निकला. मुझे मेरी गांड के छेद पर कुछ मोटा गर्म सा अह्सास हुआ. कुछ रगडन का अजीब सा अहसास औरेक नशा पैदा हो रहा था उस रगडने मेँ. मैँ तो जैसे कोकीन पी कर कहीँ खो गयी हूँ ऐसा महसूस करने लगी. आह… उसने एक हाथ से मेरी चूची को सहलाना और फिर मेरे निप्पल को चुभला कर मुझे पागल बना शुरु किया तो फिर दूसरे हाथ से मेरी चूत के दाने को मसलना शुरु किया. म्म्म म्म्म्म मुझे नहीँ पता था कि सेक्स मेँ इतना जादू भरा नशा होता है. मैँ खुद ही मेरी गांड को पीछे ठेलने लगी और कोई मोटी सी चीज़ जोकि उसका लंड था मेरी गांड मेँ घुसाने की कोशिश करने लगी. लेकिन वो काफी मोटा था.
अचानक से उसने ताकत से लंड को अन्दर पेला और मेरी गांड मेँ उसका लंड पूरी तरह से घुस गया. फिर थोडे दर्द के बाद मुझे मज़ा आने लगा और उसने चोद चोद कर मेरी गांड मेँ आखिरकार आपना सारा गाढा दानेदार वीर्य भर दिया. मुझे बहुत मज़ा आया.