मम्मी और पड़ोसन आंटी का लेस्बिअन सेक्स देखा

दोस्तों मेरा नाम निराली हे और मैं गुजरात से हूँ. मेरे पापा का नाम नगिनभाई पटेल हे और हम लोग सुरत की एक पोश कालोनी में रहते हे. मेरी माँ का नाम पूजा हे और वो एक बड़ी ही सेक्सी किस्म की औरत हे. मम्मी जब नाइटी पहन के बहार निकलती हे तो बहुत सब लड़के और अंकल लोग उसे देख कपने लोडे मसलते हे. मम्मी का लेकिन कोई अफेयर शफेर मैंने अपनी लाइफ में नहीं सुना हे.

पड़ोस की रमिला आंटी उनकी खास सहेली हे. कभी माँ उसके घर पर तो कभी पूरी दोपहर आंटी हमारे घर पर आती थी. माँ के कमरे में एक छोटा टीवी हे वहां पर वो दोनों सीरियल्स देखती थी. एक दिन मम्मी के लिए पार्सल आया. मैंने पार्सल को ले के वहां टेबल पर रख दिया और मैं कोलेज के लिए निकल गई. जब कोलेज से वापस आई तो ना ही मम्मी ने पार्सल की बात की ना मैंने.

मम्मी वैसे जब भी कोई गारमेंट वगेरह ऑर्डर करती थी तो मुझे पार्सल आने के दिन ही दिखाती थी. मैंने सोचा की जरुर कोई गरबड हे. मुझे लगा की शायद मम्मी ने मेरे लिए कोई सरप्राइज़ गिफ्ट मंगवाया होगा!

मैंने सोचा की माँ के लेपटोप में जरुर उसकी ऑर्डर हिस्ट्री में होगा वो. मैंने मौका देख के माँ जब खाना बना रही थी तो उसका लिपि लेपटोप खोला. अन्दर फ्लिपकार्ट, स्नेपडील सब शोपिंग कार्ट में देखा तो कोई रिस्नट ऑर्डर नहीं था. मुझे लगा की शायद माँ ने किसी और साईट से मंगवाया होगा. फिर मैंने माँ की ब्राउज़र हिस्ट्री देखी तो एक साईट को देख के मेरी आँख खुली रह गई. वो एक सेक्स टॉयज की साईट थी. मैंने वहां पर देखा तो वहां पर कोई लॉग इन नहीं था. शायद माँ ने वहां से आलरेडी लोग आउट कर लिया था. मेरे मन में कुतुलता हुई की क्या मेरी माँ ने सच में अपने लिए कोई सेक्स टॉय मंगवाया था!

मैंने अब ठान लिया की इस बात की जड़ तक जाना पड़ेगा. मैंने वापस जा के देखा तो माँ अभी भी किचन में ही थी. अब मैंने माँ की अलमारी वगेरह चेक की एकदम चुपके से. माँ ने पार्सल के खाली कागज़ को फाड़ के उसे एक पोलीथिन बेग में भरा हुआ था, शायद किसी को पता न चले उसके लिए. फिर अंदर की लोक को खोल के मैंने देखा तो मेरी आँख खुली रह गई. वहां पर एक स्ट्रेपओन डिलडो था जो लेस्बियन औरतें यूज करती हे. वो काफी लम्बा था कम से कम 7 इंच का!

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उसके साथ ही एक चिठ्ठी भी थी. उसके ऊपर लिखा हुआ था, फॉर पूजा, विथ लव!

अब मेरी माँ के लिए पापा तो ये स्ट्रेप ओं भेजने से रहे! वैसे पापा को माँ के लिए टाइम ही नहीं था. फिर माँ का ये आशिक था कौन!

मैंने सोचा की माँ के पीछे पड़ना पड़ेगा मुझे.

और दुसरे दिन से ही मैं माँ के ऊपर वाच रखने लगी. मैं कोलेज बंक कर के अपने घर के अगल  बगल में अपने फ्रेंड्स के घर छिपी रहती थी जहाँ से मेरा घर दिखे. लेकिन माँ एक हफ्ते भर कही बहार नहीं गई. हां दो बार पड़ोस में रमिला आंटी के वहां गई थी और बाकि के दिनों में आंटी ने हमारे घर में कुछ घंटे गुजारे थे.

मेरे मन में शंका हुई की क्या लेस्बियन सेक्स करती हे मेरी माँ पड़ोसन आंटी के साथ?

साला ऐसा ही चक्कर लग रहा था!

मैंने सोचा की इन दोनों को एक्ट करते हुए देखना पड़ेगा.

 दुसरे दिन मैं घर में ही छिप गई. दोपहर के डेढ़ बजे के बाद रमिला आंटी अपनी नाइटी पहन के आई. मम्मी ने दरवाजा खोला और वो दोनों वहां पर दरवाजे के पास ही एक दुसरे के हाथ पकड़ के खड़ी हो गई. माँ ने आंटी से कहा, बहुत देर कर दी तूने आज तो, एक बजे से वेट कर रहीं हूँ मैं तेरा!

रमिला आंटी: मेरी जान मैं आज पति के लिए खाना बनाने में लेट हो गई.

 फिर माँ का हाथ पकड़ के आंटी उसे बेडरूम में ले गई. उन्के अन्दर जाते ही दरवाजा बंद हुआ. मैं परदे के पीछे छिपी थी. वहां से निकल के मैं दरवाजे के पास आई और निचे बैठ के कीहोल से अन्दर देखने लगी. अन्दर माँ का और आंटी का लेस्बियन चालू हो गया था. मम्मी की नाइटी को आंटी ने उतार दिया था और वो उसके बड़े बूब्स को चूस रही थी. फिर मम्मी ने आंटी की नाइटी खोल दी. मम्मी ने अपनी अलमारी से वो स्ट्रेपओन निकाला और आंटी की कमरे के ऊपर बाँध दिया. आंटी के आगे जैसे लंड उग निकला था.
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और फिर मम्मी अपने घुटनों के ऊपर बैठ गई और आंटी के डुप्लीकेट लंड को चूसने लगी. आंटी ने मम्मी का माथा पकड के अपने स्ट्रेपओन के ऊपर उसे खिंचा और बोली, चूस मेरी रानी पूजा चूस मेरे लोडे को.

मम्मी ने डिलडो को ऑलमोस्ट पूरा अपने गले तक भर लिया था और डीपथ्रोट कर रही थी. फिर आंटी ने मम्मी को उठाया और उसे कहा, चल मेरी जान घोड़ी बन जा.

मम्मी घोड़ी बनी और आंटी ने पीछे से चुत्त्ड खोल के मम्मी की चूत को चाटा और फिर उसकी गांड को भी ऊँगली से हिलाने लगी. मम्मी की चूत से पानी आ गया. और मम्मी बोली, रमिला डाल दे अपना लंड मेरी चूत में.

आंटी ने अपने डिलडो को एक साइड से पकड़ा और माँ की चूत में उसका नुकीला हिस्सा घुसा दिया. माँ की चूत में आधा डिलडो घुसा के मम्मी को चोदने लगी आंटी. पीछे आंटी की बड़ी गांड थी और आगे मम्मी की सेक्सी चुत्त्ड. मम्मी आह अह्ह्ह अह्ह्ह्ह आअई कर रही थी. और फिर आंटी ने पुरे डिलडो को माँ की चूत में डाल दिया. फिर मम्मी के बूब्स को पकड के आंटी जोर जोर से उसकी चूत को चोदने लगी. दोनों ने अपनी सिसकियों को दबाने के लिए मम्मी के बेडरूम के टीवी पर सीरियल लगा दी थी. लेकिन दोनों ने एक नजर से भी सीरियल को देखा नहीं था. वो तो अपने लेस्बियन काण्ड में ही बीजी थी.

फिर आंटी ने मम्मी कोक चोदना बंद किया. मम्मी थकी हुई थी गांड हिला हिला के. अब मम्मी ने डिलडो को अपने मुहं में ले के वापस चूसा. फिर मम्मी ने स्ट्रेपओन को अपनी कमर के ऊपर बाँध दिया. और फिर रमिला आंटी उसके सामने घोड़ी बन गई. मम्मी की चूत जैसे आंटी ने अपने इस लंड से चोदी थी वैसे ही मम्मी ने भी उसको चोदा.

और मम्मी ने तो बाद में एक कदम आगे जा के आंटी की गांड में भी डिलडो को डाल के चोदा उसे.

दोनों का काम हो गया तो वो बातें करने लगी.

मम्मी: रमिला कैसी लगी ये चीज?

रमिला आंटी: पूजा सच में इसके 1200 रूपये वसूल हे. हमारे पति अब लाइफ टाइम नहीं चोदेंगे तो भी हम इस से काम चला लेंगे!

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