Tagged: sex story in marathi

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मेरे पापा ने तोड़ी मेरी सील : बाप बेटी की चुदाई की सच्ची कहानी – प्रीति

हेल्लो दोस्तों, मै प्रीति आप सभी का  में स्वागत करती हूँ।  आज मै आप को अपनी पहली चुदाई, जोकि मेरे बाप ने मेरी सील तोड़ कर की थी। मै झारखण्ड की रहने वाली हूँ। मेरी उम्र 17 साल के आस पास होगी। मेरे घर में, मै मेरी माँ, एक छोटा भाई और मेरे सौतेले पापा रहते है। मै जवान हो रही थी की और मेरी जवानी को देखकर मेरे सौतेले बाप के मान में मेरी चुदाई करने की ख्वाहिश जाग उठी। मै देखने में बहुत ही हॉट और सेक्सी लगती...

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दारू पीकर फाड़ डाली सौतेली बेटी की गुलाबी चूत

मेरा नाम अनुज है। मै बस्ती में रहता हूँ। मेरी उम्र 35 साल है। कद बहुत लंबा है। मैं 6 फ़ीट 3 इंच का हूँ। मेरा लंड भी मेरे शरीर के हिसाब से लंबा है। लगभग 13 इंच का लंड जब खड़ा होता है तो अच्छी अच्छी रंडियों की चूत फट जाती हूं। आपको तो पता ही होगा बस्ती चुदाई में सबसे मशहूर जगह है। यहाँ पर एक से बढ़कर एक माल बिकती है। मै भी लौंडिया चोदने का बहुत शौक़ीन हूँ। आप भी अगर चुदाई करते है तो आपको...

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वो मेरी चूत में अपनी जीभ को घुसा कर चाट रहा था मैं उसके लंड को मुंह में रख कर जोर जोर से चूसने लगी :- रोबिया

हेल्लो दोस्तों कैसे हो आप सभी लोग ? मैं आशा करती हूँ की आप सभी लोग ठीक ही होगे | तो आप लोग चुदाई का मज़ा तो लेते ही होगे | मेरा नाम रोबिया है | मेरी उम्र 26 साल है | मैं रहने वाली जयपुर की हूँ | मेरी शादी हो चुकी है और मेरी शादी को 3 महीने हो गए है | मैं दिखने में दूध की तरह गोरी हूँ और बहुत ज्यादा खुबसूरत हूँ | मेरा सेक्सी फिगर है इसलिए मैं अपने फिगर का साइज़ नही बताउंगी...

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बीवी ने भिखारी के लोड़े के साथ मजा किया

हैल्लो दोस्तों, हम दोनों पति पत्नी को गंदे लोग पसंद है जैसे भिखारी, रिक्शे वाला, ऑटो वाला या मज़दूर. हम दोनों किसी ऐसे गंदे आदमी को मेरी बीवी को चोदते हुए सोचते है और फिर तो ज़बरदस्त सेक्स होता है. वैसे भी हमें काले लंड पसंद है और इन लोगों के लंड ही काले ही होते है. फिर एक रात को घर पर बैठे हुए हमें सेक्स का एक नया आइडिया आया. फिर हम दोनों ने यह सोचा कि रात को निकलते है और जितने भी new sex kahani  गंदे लोग...

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मामा ने जबरजस्ती उसकी चूत में अपना लंड घुसेड़ दिया

मैंने 12 कर लिया था और मेरा सेलेक्शन एयर फोर्स में हो गया था। मेरा सेलेक्शन १९९३ में हुआ था उसके बाद मैं दिल्ली में अपने मामा के घर रहता था। १९९४ में मुझे किसी कारणवश एयर-फोर्स से निकाल दिया क्योंकि दुबारा मेडिकल हुआ था और मैंने रिश्वत नहीं दी थी। एयर फोर्स वाले ऐडवांस में सेलेक्शन करते हैं और जैसे जैसे जरूरत होती हैं बुलाते रहते हैं। एयरफोर्स से निकलने के बाद मेरा मूड काफी बिगड़ा हुआ था। मैं सुबह ५:३० पर नहा लेता था। फरवरी का महीना था।...