अब मैं आज अपनी बीवी ज्योति की चुदाई की कहानी सुनाता हूँ. मैं अरुण 38 साल का और बीवी ज्योति 35 साल की है. ज्योति पुरानी चुदक्कड़ थी शादी से पहले भी चुद चुकी थी. आजकल ऑफिस के दोस्त राज से चक्कर चल रहा था. मैं ज्योति और बेटी स्वीटी के साथ मार्किट से लौट रहा था.  मुझे दोस्त के घर जाना था और रात वही रुकना था. ज्योति watsapp पे किसी से बाते कर रही थी मैंने तिरछी नज़र से देखा तो पता चला की वो राज से मेसेज मेसेज खेल रही थी. घर के पास पहुंचा तो ज्योती ने कहा उसे आज अच्छा नहीं लग रहा है आप राज को बोलो की घर आ जाये अगर आपको कोई आपत्ति न हो तो. मैंने कहा मुझे क्या आपत्ति होगी. मैं समझ गया की ज्योति और राज ने आज की रात रंगीन बनाने का कार्यक्रम बना लिया है. मैंने ज्योति को उतार के दोस्त के घर की तरफ बढ़ गया और रस्ते में राज को फ़ोन लगाया.

एक घंटी में ही राज ने फ़ोन उठा लिया जैसे मेरे कॉल का ही उसे इंतजार था. मैंने कहा की किसी कारन वश मुझे अपने दोस्त के घर जाना पद रहा है. अगर तुम्हे कोई दिक्कत न हो तो रात में घर चले आना ज्योति को भी अच्छा नहीं लग रहा अकेले. उसने कहा ठीक है. मैंने ज्योति को फ़ोन कर कहा की राज को मैंने बोल दिया है वो आ रहा है. तब ज्योति ने कहा की उसे अच्छा नहीं लग रहा की आप घर पे नहीं हो और राज आ रहा है. मैं समझ गया की रंडी चुदाक्काद ड्रामा कर रही है. मैंने कहा इसमें बुरा लगने की कोन सी बात है. ज्योति अब घर में राज के स्वागत में जुट गयी. सबसे पहले उसने खाना बनाया और फिर पैर और चूत के बाल साफ़ किये. थोरी देर पहले बुरा लगने का ड्रामा कर रही ज्योति अब तरोतजा लग रही थी. और मेरी चुदक्कड बीवी अपने यार का इंतजार कर रही थी. उसने हाफ पेंट और ब्लैक बनियान पहना जो मेरे रहते राज के सामने कभी नहीं पहनती थी. क्योकि वो इतना ढीला हो गया था की निप्पल को छोड़ पूरी चूची दिखती थी.

स्वीटी 3 साल की भी नहीं हुयी थी इसलिए कोई डर नहीं था ज्योति को. वैसे भी जब मेरे रहते वो राज से मजे लिया करती थी तो स्वीटी से क्या डरना. इस बिच ज्योति ने राज को 10 से ज्यादा कॉल कर दिया था जल्दी आने को. राज ने पूछा बड़ी बेचैन हो रही हो मुझे क्या मिलेगा आने पर. तो ज्योति ने कहा मैं पूरी मिलूंगी तुम्हे!

करीब 10:30 पे ऑफिस से राज घर पंहुचा. दरवाजे खुलते ही जैसे ही राज की नजर ज्योति पे गयी तो वो चौक गया और उसने कहा एकदम माल लग रही हो. ज्योति ने कहा अभी तो शुरुआत है आगे आगे देखो क्या होता है. दोनों हस पड़े. राज ने स्वीटी को चोकलेट दिया वो छोटा भींम देख रही थी.

ज्योति ने कहा मेरा मुह मिठा नहीं कराओगे और ज्योति किचन में गयी. पीछे से राज आया और उसने ज्योति को बाहों में भर लिया और दोनों हाथ उसके बनियान में डाल चूची पकड़ कर कहा की सिर्फ मुह मिठा करना है क्या मैं तो आज रात तेरी चूत को अपने लण्ड से मिठा करने वाला हूँ.

ज्योति ने कहा की ज्यादा मस्ती सूझ रही है क्या.? राज ने ज्योति को अपनी तरफ घुमाया और उसके होटों पे अपना होट रख दिया. ज्योति ने राज के होटों को अपने होटों में ले के जोर जोर से चूसने लगी.

तभी स्वीटी ने आवाज लगाई दोनों हडबडा के अलग हुए. ज्योति ने राज से कहा की फ्रेश हो के चेंज कर लो. तो राज ने ज्योति की चूची दबाते हुए कहा की आज रात भर तो नंगे रहना है फिर कपडे क्यों पहनू. ज्योति ने कहा थोरा सब्र करलो स्वीटी के सोने का इंतजार करो.

फिर राज ने कपडे बदले खाना खाया और ज्योति स्वीटी को सुलाने के लिए रूम में गयी. शायद स्वीटी को भी एहसास था की उसकी माँ एक गैर मर्द से चुद्नेंवाली है. इसलिए उसे भी नींद जल्दी नहीं आ रही थी. राज चुपचाप से बिस्तर पे लेट गया और ज्योति स्वीटी को सुलाने की कोशिश कर रही थी. तो राज ज्योति की पीठ और गांड सहलाने लगा. आग दोनों तरफ लगी थी लेकिन स्वीटी दोनों का मज़ा ख़राब कर रही थी.

आखिरकार करीब 12 बजे स्वीटी सो गई. ज्योति धीरे से उठी और सुसु करने गयी. राज भी उसके पीछे पीछे बाथरूम में घुस गया. ज्योति ने कहा क्या कर रहे हो स्वीटी उठ जाएगी. तुम जाओ बिस्तर पर मैं आ रही हूँ. लेकिन राज के सब्र का बाँध टूट चूका था. उसने बाथरूम में ही ज्योति को पकड़ कर उसके चुचे दबाने लगा और लिप्स किस करने लगा. ज्योति जितना राज को दूर करने की कोशिश करती राज उतनी जोर से चूची मसलने लगता. राज ने ज्योति को कमोड में बिठाया और कहा मेरी जान मेरे सामने मुतो. ज्योति ने कहा बहुत बेशर्म हो गए हो तुम जाओ मैं आती हूँ. लेकिन राज कहाँ मानने वाला था. उसने कहा मेरे सामने चूत खोल के मुतने में शर्म आ रही है तो लो मैं अपना लंड निकल देता हूँ.

राज की 7 इंच का लंड देख ज्योति खुश हो गयी. ज्योति ने कहा की ये लंड है या काल नाग. राज ने कहा की मैंने कहा था ना की मेरे साप से बच के रहना आज ये मेरा साप तेरी चूत वाली बिल में घुसेगा. राज ने कहा तुम ने बोला था न की मुह मीठा कराओ तो अभी करता हूँ मुह मिठा.

ज्योति ने कहा क्या मतलब लंड से मुह मीठा कैसे कराओगे. राज ने जेब से चोकलेट निकाला और लंड पे लगा दिया. और बोल की लो अब तो मुह मीठा हो जायेगा मेरी जान बस इस लंड को चुसना शुरू कर दो. ज्योति ने कहा मैं लंड नहीं चूस सकती मुझे घिन्न आती है.

राज ने कहा चिंता मत करो सुबह होते होते सबसे ज्यादा स्वाद मेरे लंड में ही आयेगा  ज्योति कुछ बोलती उससे पहले ही राज ने अपने नाग जैसे लंड को ज्योति के मुह में डाल दिया. और ज्योति के बाल पकड़ कर उसके मुह को चोदने  लगा.

ज्योति पर भी मस्ती छाने लगी थी और ज्योति बहुत ही तेजी से राज के लण्ड को चूसने लगी. करीब 20 मिनट तक ज्योति राज के लंड को चुस्ती रही. एक हाथ से ज्योति राज का लंड पकड़ के चूस रही थी तो दुसरे हाथ से अपना चूत सहला रही थी. दोनों मस्ती में डूबे जा रहे थे. बीच बिच में ज्योति के चुचे भी राज दबाता और निप्पल भी चूसता. दोनों अब झड़ने वाले थे. राज ने ज्योति के मुह में लंड से पेलाई की स्पीड बढ़ा दी. पहले ज्योति का बदन अकड़ा और वो झड़ी.

उसके साथ ही राज के लंड ने विर्य की मोटी धार ज्योति के मुह में उड़ेल दिया. ज्योति ने लंड के एक एक बूंद पानी को चाट चाट के पि लिया. दोनों पसीने में दुबे हुए थे लेकिन दिनों के चेहरे पे एक संतुष्टि थी. दोनों एक दुसरे की बाँहों में प्यार और बासना का एह्साह कर रहे थे.

थोड़ी देर बाद ज्योति ने हाथ जोड़ते हुए कहा राज अब तो बहार चले जाओ मैं आती हूँ 5 मिनट में. जल्दी आना बोल के राज बाहर आ गया. ज्योति ने मुह पे पानी मारा और फिर बहार आयी. बिस्तर पे राज को पूरा नंगा देख ज्योति ने कहा ये क्या है. तो राज ने कहा की तुमने ही तो कहा था की जब तक स्वीटी जगी है तब तक के लिए कपडे पहन लो. अब स्वीटी सो गयी तो कपडे भी उतर गए. अब अपना कपडा तू खुद उतरोगी या मैं नंगी करू तुम्हे. हस्ते हुए ज्योति ने स्वीटी को देखा और फिर बनियान और हाफ पेंट उतर कर राज के बिस्तर पे आ गयी और एक दुसरे की बाँहों में खो गयी. राज ने कहा आज की रात का इंतजार कई दिन से था आज जम के पेलूंगा. ज्योति ने कहा तुम्हारे लंड के लिए तड़प रही हूँ आज प्यास बुझा दे.

नंगी ज्योति की टाँगे खोल के राज ने उसकी चूत पर चोकलेट लगाईं. और फिर अपनी जबान से वो चूत चाटने लगा. ज्योति के अन्दर की अन्तर्वासना भी बहार आ गई थी पूरी. बेटी साइड में बिस्तर में लेटी थी और वो किसी रंडी की तरह मस्तियाँ के कराह रही थी.

राज बुर को चूसते हुए एक हाथ से अपने लंड को हिला रहा था. फिर उसने ज्योति की तरह घूम के उसके साथ 69 पोजीशन बना ली. राज के लोडे को हिलाते हुए ज्योति ने उसे खूब चूसा. अभी कुछ देर पहले ही उसने वीर्य का खट्टा सवाद लिया था और अब वापस से लंड की मसकी स्मेल उसकी नाक में थी.

राज ने चूत के दाने के ऊपर जब जीभ घुमाई तो ज्योति के अन्दर जैसे आग ही लग गई. उसने अपने मुहं राज के लंड को बहार निकाल दिया और चद्दर को अपने हाथ से पकड़ के नोंचने लगी चूत के दाने के साथ साथ राज उसके चुदाई वाले छेद को भी अपनी जबान से घिस रहा था. ज्योति सातवें आस्मां पर थी और कराह रही थी बड़े ही मादक स्वर से.

ज्योति बोली, अह्ह्ह्हह अह्ह्ह्हह्ह जल्दीईईईईइ डालो अन्दरर्र्र्रर्र्र्रर!

राज उठा और उसने लंड पर लगी हुई चोकलेट को कपडे से साफ़ कर दी. फिर उसने लंड को तह से पकड़ के थोडा हिलाया. ज्योति ने अपनी दोनों टाँगे एकदम फाड़ के रख दी थी. राज का कडक लंड अब उसकी गुफा में था. और वो मादक सिसकियों के साथ चुदवा रही थी. बेटी साइड में पलंग में लेटी हुई थी और माँ ऐसे बिन्दास्त अपने यार का लंड ले रही थी!

दोस्तों उस रात राज ने ज्योति को 3 बार चोदा. सुबह में जब घर गया तो ज्योति के चहरे पर एक अलग ही ख़ुशी थी. और राज हमारे बेड पर अपनी दो टांगो के बिच में तकिया दबाये हे सोया हुआ था!

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